फरीदाबाद, 16 फरवरी। अन्तरराष्ट्रीय मोटा अनाज वर्ष 2022- 2023 के तत्वाधान में हरियाणा प्रदेश में मोटे अनाज को बढ़ावा देने के लिए चलाई जा रही मुहिम में कृषि एवं किसान कल्याण विभाग, हरियाणा एंव खेती विरासत मिशन के संयुक्त तत्वाधान में आज वीरवार को सूरजकुण्ड मेला फरीदाबाद में चौपाल न0-2 पर मिलेट्स किसान चौपाल का आयोजन किया गया। कृषि एवं किसान कल्याण विभाग, हरियाणा पंचकुला के महानिदेशक डॉ. नरहरि सिंह बांगड ने बतौर मुख्य अतिथि के तौर पर कार्यक्रम में शिरकत की। उन्होंने बताया की समाज में बढ़ती बिमारियों का निदान मोटा अनाज ही है। आने वाले समय में मोटा अनाज ही हमारी अनिवार्यता है। वहीं इस कार्याक्रम में हरियाणा प्रदेश के विभिन्न जिलो से आये किसानो ने चौपाल में आकर अपनी उपस्थिति दर्ज की तथा कृषि सम्बन्धित समस्याओ और उनके निदान के लिए अपने विचार प्रस्तुत किये।
उपनिदेशक डॉ० पवन शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया की जिस प्रकार हमारे परिवारो में बिमारियां बडती जा रही है। उनको रोकने का एक मात्र उपाय मोटा अनाज है जिसमें पौष्टिक फाईबर प्रचुर मात्रा में शरीर को प्राप्त होते हैं और बिमारियों से लडने की शक्ति शरीर को प्राप्त होती है। हमे चाहिए की धीरे-धीरे गेहूँ तथा धान की फसल से निकलकर बाजरा, जौ, रागी व कनकी जैसी फसलो पर आना चाहिए। डॉ० नरहरि सिंह बांगड ने विभिन्न जिलो से आये किसनों को सम्बोधित करते हुए बताया की विभिन्न माध्यमों से मिलेट्स को बढ़ावा देने को लेकर समय-समय पर स्कूलो में जागरूकता शिविरों का आयोजन किया जाना बेहद आवश्यक है साथ ही साथ मिलेट्स जागरूकता कार्यक्रम को अधिकांशतः शहरी क्षेत्रो में चलाया जाना चाहिए जिससे जहाँ किसान की आमदनी बढ़ेगी और शहरी क्षेत्रों में पनप रही बिमारियों से भी निजात मिलेगी।
खेती विरासत मिशन के कार्यकारी निदेशक श्री उमेन्द्र सिंह ने अपनी टीम का किसानो से परिचय करवाया वहीं किसान मनवीर रेहडू जिंद और कम्बोज, सिरसा के किसान ने भी विस्तार से मिलेट्स की खेती को लेकर किसानों के साथ जानकारी साझा की।
उपनिदेशक महोदय पलवल ने किसानो को अन्तरराष्ट्रीय मोटा अनाज वर्ष 2022 2023 के अर्न्तगत अधिक से अधिक मोटे अनाज के उत्पादन का आहवान किया और कहा की ज्वार, बाजरा, रागी जैसी फसलों के उत्पादन से फसल चक में भी विविधता आती है। इसका मुख्य लाभ यह होता है की मृदा के स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव पडता है साथ ही इस मुहिम से आमजन के स्वास्थ्य में भी सुधार होगा जिससे किसानों को आर्थिक स्तर पर लाभ होगा। किसान चौपाल में पलवल एंव फरीदाबाद सहित अन्य जिलो से लगभग 500 किसानो ने कार्यक्रम में भाग लिया और मोटे अनाज अनाज की आवश्यकता के विषय में ज्ञान प्राप्त किया तथा विश्वास दिलाया की वह स्वयं भी अपने-अपने क्षेत्र के गांव में जाकर व किसानो को जागरूक करेंगे तथा किसानो को मोटे अनाज की पैदावार के लिए प्रोत्साहित करेंगे। मेले मे आये हुए किसानो ने मिलेट्स से बने व्यंजनो सहित भोजन ग्रहण किया और आयोजको का आभार व्यक्त किया।