Surajkund News/ Sunny Dutta : सूरजकुण्ड11 फरवरी- डाॅन फिल्म का मशहूर गाना खईके पान बनारस वाला के बनारसी पान का स्वाद तो आपने चखा होगा लेकिन फायर पान का नाम ही आपने शायद पहले सुना हो। आमतौर पर पान को उसके स्वाद के लिए खाया जाता है। पान की तासीर ठंडी होती है, लेकिन जरा सोचिए कि अगर इस ठंडे पान में आग लगाई जाए और आग की लपटें निकले पान को खाया जाए तो। जी हां, यह सुन कर आश्चर्य तो होता है, पर फरीदाबाद के सूरजकुंड में चल रहे 32वें अंतर्राष्ट्रीय शिल्प मेले में कुछ ऐसे ही नजारे देखने को मिल रहे हैं। यहां फूड कोर्ट में पांडे पान पैलेस का फायर पान का स्वाद युवाओं को खूब भा रहा है।
मूलतः उत्तर प्रदेश के बनारस के विवेक पांडे अपने खानदानी काम को आगे बढ़ा रहे हैं। पीढियों से लजीज बनारसी पान का काम करते आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि पिता जी जमना प्रसाद पांडे पहले बनारस में ही पान की दुकान लगाया करते थे। फिर बाद में दिल्ली इंडिया गेट के पास पांडे पान पैलेस के नाम से दुकान बनाई थी। पिता के गुजरने के बाद तीन भाई दुकान चलाते हैं और देश भर में लगने वाले बड़े-बड़े मेलों में शिरकत करते हैं। मेले में फायर पान के अलावा चॉकलेट पान, घुंडी पान, भीगपान, स्ट्राबेरी पान, आइस पान, सादा पान के अलावा परंपरागत शाही बनारसी पान बनाते हैं। फायर पान में स्पेशल गुलकंद, फ्लेवर चटनी, जवाहर चटनी, ड्राइफ्रूट, ब्रास माउथफ्रेशर डालने के बाद उसमें आग लगा दी जाती है, लेकिन खाने से पहले आग बुझ जाती है, जिससे पान खाने वालों को कोई नुकसान नहीं होता।
सूरजकुंड मेला में फायर पान का जायका लेने वाले चंडीगढ के सुनील रंगा ने बताया कि वैसे तो वे पान के कम हीं शौकीन हैं, लेकिन बनारस का फायर पान और शाही बनारसी पान का स्वाद चखने की इच्छा थी। शुरू में डर तो लगा, पर जब दूसरों को देखा, तो हिम्मत बढ़ गई और ले लिया स्वाद अच्छा लगा।