Faridabad News, 05 May 2020 : अपने मंच के माध्यम से राष्ट्रीय महिला जागृति मंच की राष्ट्रीय चेयरपर्सन अम्बिका शर्मा सरकार के ठेके खोलने का पुरजोर विरोध करती है। सरकार द्वारा अपना खजाना भरने के लिए शराब, गुटखा, तंबाकू की बिक्री शुरू की गई है जिससे देश तथा प्रदेश में घरेलू हिंसा के मामलों में वृद्धि होना स्वाभाविक है। कई क्षेत्रों में तो महिलाओं की पुरुषों द्वारा शराब के नशे में हत्या भी हो चुकी है। ऐसी महामारी ओर प्राकृतिक आपदा के समय जहां सरकार राशन वितरण आदि कार्य जनहित में कर रही है वही शराब के ठेके खोल कर घर में पैसे की तंगी पैदा कर रही है। इतनी भीड़ राशन की दुकान पर राशन खरीदने के लिए नही लगी देखी जितनी भीड़ आजकल शराब के ठेकों पर दिखाई दे रही है। कोविड 19 लॉक डाउन में लगभग सभी रोजगार ठप्प हो गए हैं। जनता पैसे पैसे के लिए मोहताज हो चुकी है। निम्न वर्ग और मध्य वर्ग गरीबी के हालात से गुजर रहा है। ऐसी स्थिति में शराब के ठेके खुलने से पारिवारिक जनों, वृद्धजनों, महिलाओं पर शराब के लिए पैसों का दबाव बनाया जाएगा ओर नशे में महिलाओं व बच्चों पर अत्याचार किया जाएगा। बच्चों की स्कूल फीस, बीमारी आदि के लिए पेट काटकर रखी गई जमा पूंजी बर्बाद हो जाएगी। कहां से बिजली, बैंक की ईएमआई, घर का राशन आदि की पूर्ति होगी।
अतः राष्ट्रीय महिला जागृति मंच की राष्ट्रीय चेयरपर्सन जो कि हमेशा से ही महिलाओं के हित मे कार्य करती हैं, सरकार से निवेदन करती है कि सरकार को इस पर तत्काल रोक लगानी चाहिए नहीं तो जनता कोरोना से कम घरेलू हिंसा में वृद्धि से ज्यादा प्रभावित होगी। अम्बिका शर्मा जी कहती है कि सिर्फ महिलाओं को ही नही बल्कि हम सभी महिला पूरुष व बच्चों को भी शराब के ठेके खुलने का विरोध करना चाहिए क्योंकि परिवार सिर्फ एक महिला का ही नही घर मे रहने वाले सभी सदस्यों से परिवार बनता है और उसकी भलाई की जिम्मेदारी पूरे परिवार की बनती है।