Faridabad News : डी ए वी शताब्दी महाविद्यालय फरीदाबाद द्वारा महाविद्यालय में नवागंतुक प्रथम वर्ष के विद्यार्थियों के स्वागत एवं शिक्षक दिवस के उपलक्ष्य में यज्ञ का आयोजन किया गया। इस अवसर पर महाविद्यालय की कार्यकारी प्राचार्या डॉ सविता भगत ने नवागंतुक विद्यार्थियों को अपनी शुभ कामनायें दीं। उन्होनें सभी विद्यार्थियों को डी ए वी संस्था के कार्यों से अवगत कराया। उन्होनें बताया कि हमें पाश्चात्य ज्ञान के साथ साथ अपनी संस्कृति को विस्मृत नही करना है। श्रेष्ठ गुणों का विकास ही आर्य समाज का लक्ष्य है। महाविद्यालय में सभी विद्यार्थियों को इसी प्रकार का वातावरण मिलेगा। इसके साथ ही उन्होंने शिक्षक दिवस पर सभी प्राध्यापकों को बधाई एवं अपनी शुभ कामनायें दीं। उन्होंने कहा कि शिक्षक कभी साधारण मनुष्य नहीं होता है । वह राष्ट्र का निर्माता ,धर्म का संरक्षक और संस्कृतियों का पालक होता है ।उसके हाथों से राष्ट्र का भविष्य पल्लवित होता है। सृजन और संहार ,उत्थान और प्रलय शिक्षक के हाथों के क्रीडा़ कंदुक है। जिस राष्ट्र में शिक्षक का सम्मान नहीं होता और शिक्षक भी अपने कर्तव्य से विमुख होते हैं तब वह राष्ट्र अपनी संस्कृति अपना अस्तित्व ,अस्मिता और गरिमा को खो देता है। शिक्षकों का सम्मान ही किसी राष्ट्र के गौरव का प्रतीक होता है। विश्वामित्र ने श्रीराम, संदीपनि ने श्रीकृष्ण, द्रोणाचार्य ने अर्जुन,आचार्य चाणक्य ने चंद्रगुप्त और समर्थ गुरु रामदास ने छत्रपति शिवाजी जैसे अपने महान शिष्यों के द्वारा केवल अपने राष्ट्र और संस्कृति की रक्षा ही नहीं अपितु संवर्द्धन भी किया है। इसलिए शिक्षक का स्थान सर्वोपरि होता है। शिक्षक को चाहिए कि वह अपने ज्ञान का प्रचार प्रसार करें। निरन्तर स्वाध्याय करते रहें। इस अवसर पर संस्कृत विभागाध्यक्ष डॉ अमित शर्मा ने यागाचार्य का पद अलंकृत किया। महाविद्यालय के सभी प्राध्यापकों डॉ अर्चना सिंघल, डॉ प्रिया कपूर, डॉ मीनाक्षी हुड्डा,मैडम मीनाक्षी कौशिक, मैडम मीनाक्षी आहूजा, कप्तान सुनीता डुडेजा,मैडम अंजना डुडेजा,मैडम ममता,मैडम कमलेश, मैडम रचना कसाना आदि प्राध्यापक उपस्तिथ रहे।