पानीपत की ट्रैफिक व्यवस्था पर हनीप्रीत का ‘काला साया’

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Panipat News : हरियाणा पुलिस के लिए पहेली बनी हनीप्रीत अब पानीपत के लोगों के लिए भी ‘काला साया’ बनकर उभरी है। जिसका प्रभाव जी.टी. रोड सहित विभिन्न मुख्य मार्गों पर अस्त-व्यस्त यातायात व्यवस्था के रूप में देखने को मिल रहा है। जहां एक ओर पंचकूला में हुए हिंसक तांडव की जानकारी हासिल करने के लिए हनीप्रीत से पुलिस पूछताछ जारी है। लेकिन दूसरी ओर इसका अप्रत्यक्ष प्रभाव पानीपत में भी देखने को मिल रहा है।

सुनने में यह बात भले ही अजीब लगे, परंतु यह पूर्णतय: सत्य है। बताने योग्य है कि राम रहीम की चहेती हनीप्रीत की 38 दिनों की फरारी व पंचकूला में 25 अगस्त को हुई हिंसा के आरोपियों के लिए बनी एस.आई.टी. में पानीपत शहरी डी.एस.पी. आत्मा राम लांबा की महत्वपूर्ण भूमिका है, इसलिए अस्थायी रूप से उनकी सेवाएं पानीपत डी.एस.पी. सिटी में नियुक्ति के बावजूद पंचकूला सी.पी. कार्यालय में चल रही हैं। उनकी सीट खाली होने का प्रभाव स्पष्ट रूप से क्षेत्र की यातायात व्यवस्था पर परिलक्षित हो रहा है।

हालांकि फिलहाल उनके स्थान पर नए डी.एस.पी. संदीप मलिक को कार्यभार सौंपा गया है। विश्वस्त सूत्रों के अनुसार डेरा प्रमुख राम रहीम को दोषी करार दिए जाने के बाद पंचकूला व प्रदेश के अन्य भागों में भड़की हिंसा के मामले की जांच के लिए सी.पी. पंचकूला के नेतृत्व में जब एस.आई.टी. का गठन किया गया।

एस.आई.टी. में हरियाणा के चुनिंदा तेज तर्रार अधिकारियों को चुना । एस.आई.टी. की इस टीम में पंचकूला के ए.सी.पी. मुख्यालय मुकेश मल्हौत्रा, डी.एस.पी. पानीपत आत्मा राम लांबा व 6 अन्य डी.एस.पी. स्तर के अधिकारियों की कुल 8 टीमें बनाई गई हैं।

सभी टीमों की सीधी रिपोर्टिंग सी.पी. ए.एस. चावला के अधीन हैं। आई.जी. क्राइम अगेंसट वूमैन ममता सिंह व अन्य कुछ महिला अफसरों की ड्यूटी हनीप्रीत से पूछताछ के लिए लगाई गई हैं। जहां पानीपत डी.एस.पी. आत्माराम की सेवाएं पंचकूला में लिए जाने से क्षेत्र के अधिकारियों का मान सम्मान बढ़ा है, वहीं यातायात व्यवस्था के मामले में उनके यहां न होने का प्रभाव स्पष्ट रूप से देखा जा रहा है। जी.टी. रोड स्थित होने के कारण यातायात पर दबाव बहुत ज्यादा है। ऊपर से फैस्टीवल सीजन होने के कारण स्थिति बद से बदतर होती जा रही है।

आत्माराम के यहां डी.एस.पी. लगने से पूर्व जाम की स्थिति भयंकर थी, जिसे बाद में काफी हद तक प्लानिंग करके नियंत्रित भी किया गया था। लेकिन अब अधिकारी के पंचकूला में अस्थायी रूप से सेवाएं देने के कारण यातायात कर्मचारी बिना प्लानिंग के ही जाम को खुलवाने में पूरा दिन जद्दोजहद करते रहते हैं।

लोगों का कहना है कि पिछले कुछ दिनों से यातायात पुलिस कर्मियों द्वारा रात्रि गश्त लगाने के मामलों में कमी आई है जिससे व्यवस्था पर बुरा असर पड़ा है। प्रशासनिक स्तर पर हालांकि फिलहाल डी.एस.पी. की सीट खाली होने पर पुलिस अधीक्षक राहुल शर्मा द्वारा शहरी क्षेत्र व ट्रैफिक डी.एस.पी. के तौर पर संदीप मलिक को कार्यभार सौंपा गया है।

छठ पूजा बढ़ा सकती है परेशानी
पानीपत औद्योगिक नगरी होने के कारण लाखों की संख्या में प्रवासी मजदूर यहां फैक्टरियों में कार्य के लिए आते हैं। वहीं धान का सीजन होने के कारण काफी संख्या में अतिरिक्त मजदूर भी जिले में आए हुए हैं। अब छठ पूजा निकट आ पहुंची है।

ऐसे में डूबते सूर्य को अघ्र्य देने के लिए एक बड़ा समूह मुख्य मार्गाों में से होता हुआ नहरों पर पहुंचेगा जिससे पहले से ही अनियंत्रित ट्रैफिक व्यवस्था को सुचारू रूप देना प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती होगा। यातायात पुलिस के लिए इसके लिए विशेष प्लािनिंग तैयार करनी होगी।

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