April 21, 2025

अनुसंधान और नवाचार के क्षेत्र में ‘जे सी बोस उत्कृष्टता पुरस्कार’ की शुरूआत

0
105
Spread the love

Faridabad News, 02 Dec 2020 : जे.सी. बोस विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, वाईएमसीए, फरीदाबाद ने सर जगदीश चंद्र बोस की 162वीं जयंती के उपलक्ष्य में अनुसंधान और नवाचार के क्षेत्र में ‘जे.सी. बोस उत्कृष्टता पुरस्कार’ शुरू करने की घोषणा की है। यह पुरस्कार होनहार विद्यार्थियों, शोधकर्ताओं और संकाय सदस्यों को समाज की विभिन्न समस्याओं में समाधान में योगदान देने वाले उनके अनुसंधान और नवाचार के लिए दिया जाएगा।

यह जानकारी कुलपति प्रो. दिनेश कुमार ने आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 प्रतियोगिता के समापन समारोह में दी। कुलपति ने कहा कि यह पुरस्कार दो श्रेणियों में दिया जायेगा। पहली श्रेणी में संकाय सदस्य और दूसरी श्रेणी में शोधार्थी तथा विद्यार्थी शामिल होंगे।

आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 प्रतियोगिता के समापन समारोह की अध्यक्षता प्रख्यात चिंतक एवं समाज सुधारक श्री इन्द्रेश कुमार द्वारा की गई। इस अवसर पर फरीदाबाद के विधायक श्री नरेंद्र गुप्ता तथा इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अंतर्गत संचालित भारतीय सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क के महानिदेशक डॉ. ओमकार राय विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे तथा कार्यक्रम को संबोधित किया। इस अवसर पर कुलसचिव डाॅ. एस.के. गर्ग ने मुख्य अतिथियों का स्वागत किया।

समारोह में विश्वविद्यालय द्वारा आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 में श्रेष्ठ चुनी गई विद्यार्थियों के स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट्स को विश्वविद्यालय के टेक्नोलाॅजी इंक्यूबेशन सेंटर में तीन लाख रुपये तक की सुविधाएं प्रदान करने की घोषणा की गई। इस दौरान, ज्यूरी इन्वेस्टर्स ने निवेश के लिए विद्यार्थियों के सात स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट को निवेश के लिए तकनीकी तथा वित्तीय व्यवहारिकता को लेकर बातचीत का निमंत्रण दिया। ज्यूरी इन्वेस्टर्स द्वारा विद्यार्थियों के स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट्स में कुल 5 करोड़ रुपये तक निवेश की प्रतिबद्धता जताई गई है।

इससे पहले, श्री इन्द्रेश कुमार ने केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्य मंत्री श्री. कृष्णपाल गुर्जर की ओर से विश्वविद्यालय में बहुउद्देशीय सभागार ‘शाकुन्तलम’ का उद्घाटन किया। श्री गुर्जर अपरिहार्य कारणों से कार्यक्रम में शामिल नहीं हो सके। हालांकि, कार्यक्रम के लिए उन्होंने अपना संदेश प्रेषित किया, जोकि इस अवसर पर पढ़ा गया। श्री। इंद्रेश कुमार ने आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज के विजेताओं को भी पुरस्कृत किया। श्री इंद्रेश कुमार, जो राष्ट्रीय स्वयं सेवक की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के वरिष्ठ सदस्य भी हैं, ने विद्यार्थियों से आह्वान किया कि वे जीवन में उत्कृष्टता हासिल करने के लिए खुद को कठिनतम चुनौती के लिए तैयार करें।

विश्वविद्यालय द्वारा आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 की शुरूआत देश में आधुनिक विज्ञान के जनक सर जगदीश चन्द्र बोस की जयंती के उपलक्ष्य में की गई थी, जिसका उद्देश्य विद्यार्थियों के इनोवेटिव स्टार्ट-अप आइडिया को प्रोत्साहित करना और सहयोग देने है। समारोह में प्लेसमेंट, एलुमनाई तथा कॉर्पोरेट मामलों के डीन प्रो. विक्रम सिंह ने बताया कि आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 के दौरान कुल 50 से अधिक स्टार्ट-अप प्रविष्टियां प्राप्त हुई थी, जिसमें से 23 प्रोजेक्ट्स को पहले दौर में और 10 प्रोजेक्ट्स को अंतिम दौर में शॉर्टलिस्ट किया गया।

आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 में मल्टी फंक्शन 3डी प्रिंटर के स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट के लिए जे.सी. बोस विश्वविद्यालय के समीर शर्मा के नेतृत्व वाली टीम को विजेता घोषित किया गया। इसी प्रकार, पलक कुमार की अगुवाई में ऑटोमेटेड वर्टिकल ग्रोइंग प्लान्टर और स्मार्ट पार्किंग प्रोजेक्ट के लिए सचिन यादव के नेतृत्व वाली टीमों को क्रमशः प्रथम उपविजेता तथा द्वितीय उपविजेता घोषित किया गया। अब इन सभी विजेताओं को विश्वविद्यालय के टेक्नोलाॅजी इंक्यूबेशन सेंटर में उनके स्टार्ट-अप प्रोत्साहन देने पर काम किया जायेगा। इसके अलावा, ज्यूरी इन्वेस्टर्स भी उनकी स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट्स में निवेश करेंगे। इसके लिए ज्यूरी इन्वेस्टर्स ने विजेताओं सहित कुल सात स्टार्ट-अप प्रोजेक्ट को तकनीकी तथा वित्तीय व्यवहारिका को लेकर बातचीत के लिए आमंत्रित किया है।

आईओटी स्टार्ट-अप चैलेंज 2020 के अंतर्गत जिन निवेशकों ने विद्यार्थियों के आईओटी प्रोजेक्ट में निवेश करने की प्रतिबद्धता जताई गई है, उनमें एमवी इलेक्ट्रो सिस्टम के संस्थापक और प्रबंध निदेशक श्री मोहित वोहरा, एडवेंट ऑयलफील्ड सर्विसेज के संस्थापक और प्रबंध निदेशक श्री अनुज कुमार, पीवीएम लॉजिस्टिक्स के संस्थापक और प्रबंध निदेशक श्री मनीष सिंघल, सिंगापुर के जेंगाटीवी के प्रबंध निदेशक और मुख्य तकनीकी अधिकारी श्री शब्बीर मोमिन शामिल हैं। निवेशक जूरी सदस्य द्वारा दो राउंड में विद्यार्थियों के प्रोजेक्ट्स का मूल्यांकन किया गया। पहले राउंड में विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत प्रोजेक्ट का सारांश के आधार पर प्रोजेक्ट का परखा गया, जिसमें प्रोजेक्ट को लेकर समस्या, समाधान तथा व्यवहारिकता संबंधी जानकारी थी। इसके उपरांत विद्यार्थी द्वारा प्रोजेक्ट को लेकर प्रेजेंटेशन दी गई।

About The Author

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *